क्या एक दिन में कोर्ट मैरिज की जा सकती है?

क्या एक दिन में कोर्ट मैरिज की जा सकती है?

यदि आप चाहते हैं कि आपका विवाह बग़ैर किसी रुकावट में कानून की सहायता से सिर्फ़ एक या दो दिनों में सम्पन्न हो जाए, तो आप इसके लिए निश्चित तौर कई कानून खोज रहे होंगे। ऐसे में यह लेख आपके लिए यही जानकारी ले कर आया है कि क्या एक दिन में कोर्ट मैरिज की जा सकती है?

यदि एक दिन में कोर्ट मैरिज की जा सकती है तो उस के लिए कौन सा कानून है? और एक दिन में कोर्ट मैरिज के लिए क्या क्या आवश्यकताएं होती हैं।

एक दिन में कोर्ट मैरिज करने के लिए हमारे पास दो विकल्प उपलब्ध हैं। एक दिन में कोर्ट मैरिज करने के लिए हिन्दू मैरिज एक्ट और विशेष विवाह अधिनियम दोनों ही अधिनियम उपलब्ध हैं परंतु इन में लगने वाला समय और कुल ख़र्च दोनों ही अलग है।

हिन्दू मैरिज एक्ट द्वारा एक दिन में कोर्ट मैरिज

हिन्दू मैरिज एक्ट द्वारा एक दिन में कोर्ट मैरिज करने के लिए सर्वप्रथम आपको आर्य समाज के अंतर्गत विवाह करना होगा तत्पश्चात अपने इस विवाह का पंजीकरण हिन्दू विवाह अधिनियम के अंतर्गत करा कर विवाह पूर्णतः वैधानिक बनाया जा सकता है। हिन्दू मैरिज एक्ट के तहत होने वाले विवाह और विवाह का पंजीकरण सिर्फ़ हिंदुओं, सिख, जैन और बौद्ध द्वारा ही करवाये जा सकते हैं।

यदि किसी अन्य धर्म के व्यक्ति को अपना विवाह पंजीकरण हिन्दू विवाह अधिनियम के तहत करवाना हो तो वह अपना धर्म परिवर्तन कर हिन्दू बन कर अपना विवाह पंजीकरण करवा सकता है। हिन्दू विवाह अधिनियम के तहत विवाह पंजीकरण की इस प्रक्रिया में लगभग चार घण्टों का समय लग सकता है।

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विवाह के पंजीकरण के पश्चात कुछ ही दिनों में आप इस कोर्ट मैरिज का प्रमाण पत्र प्राप्त कर सकते हैं। यह प्रमाण पत्र विवाह की वैधानिक स्थिति का प्रमाण होता है। इस के माध्यम से आप कई सारे कार्य कर सकते हैं जैसे कि वीज़ा, ज्वाइंट खाता खुलवाना इत्यादि।

क्या आप को कानूनी सलाह की जरूरत है ?

हिन्दू विवाह अधिनियम के तहत विवाह पंजीकृत कराने के लिए कुछ बातों का ध्यान रखना बेहद आवश्यक है। आइये समझते हैं कि वो कौन सी बातें हैं जिनका ध्यान रखना एक दिन में कोर्ट मैरिज करने के लिए आवश्यक होता है।

  1. एक दिन में कोर्ट मैरिज की इस प्रक्रिया में वर वधू की उम्र क्रमशः 21 वर्ष व 18 वर्ष पूरी होनी चाहिए।
  2. विवाह हेतु उपस्थित पार्टियों का हिन्दू, सिख जैन या बौद्ध होना अनिवार्य है।
  3. विवाह हेतु हफ्ते में रविवार एवं किसी सार्वजनिक अवकाश को छोड़ कर किसी भी दिन जाय जा सकता है।
  4. 18 वर्ष पूर्ण कर चुके दो गवाहों का होना आवश्यक है। यह गवाह कोई भी हो सकते हैं। मसलन परिजन या मित्र।
  5. पूरी प्रक्रिया में लगभग चार घण्टों का समय लगेगा।
  6. एक दिन में कोर्ट मैरिज करने पर किसी भी प्रकार का नोटिस जारी नहीं किया जाता है।

हिन्दू विवाह अधिनियम के तहत एक दिन में कोर्ट मैरिज करने के लिये आवश्यक दस्तावेज:

  1. वर एवं वधू के छः छः पासपोर्ट आकर के फोटो एवं आधार कार्ड।
  2. साक्ष्यों के निवास प्रमाण पत्र।
  3. साक्ष्यों के दो दो पासपोर्ट आकार की फ़ोटो।
  4. यदि वर वधू में से कोई पूर्व में तलाकशुदा या विधुर/विधवा है तो क्रमशः न्यायालय द्वारा तलाक का अंतिम आदेश या मृत्यु प्रमाण पत्र।
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विशेष विवाह अधिनियम द्वारा एक दिन में कोर्ट मैरिज

विशेष विवाह अधिनियम द्वारा एक दिन में कोर्ट मैरिज करना सम्भव नहीं है। विशेष विवाह अधिनियम के द्वारा कोर्ट मैरिज पूर्ण होने में 30 से 40 दिनों तक का समय लग सकता है। इस प्रकार होने वाले विवाह में कोई धार्मिक रिवाज नहीं अपनाए जाते हैं। एक आवेदन के पश्चात रजिस्ट्रार द्वारा एक नोटिस जारी किया जाता है 30 दिनों तक इस नोटिस के प्रति किसी प्रकार की आपत्ति न होने पर विवाह पूर्ण होता है। अतः विशेष विवाह अधिनियम द्वारा एक दिन में कोर्ट मैरिज करना सम्भव नहीं है।

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