कॉपीराइट और इसके फायदे

कॉपीराइट और इसके फायदे

कॉपीराइट क्या होता है?

किसी भी प्रकार का कंटेंट जैसे गाने, फिल्म, पेंटिंग, लेखन, आदि, जिन्हे बनाने में एक व्यक्ति की क्षमता, एनर्जी, उसकी समझ, उसकी क्रिएटिविटी, पैसा, संसाधन आदि यूज़ होता है।

कॉपीराइट लेने की क्या जरूरत हैं?

अगर कोई अन्य व्यक्ति इस प्रकार के किसी भी कंटेंट को चुराता है या इसकी नक़ल करता है, जो कंटेंट बनाने वाले व्यक्ति को किसी प्रकार के नुकसान पहुंचता है, तो यह भारतीय कानून के तहत एक दंडनीय अपराध है। 

हालाँकि, यह दंडनीय तभी होगा जब कंटेंट के मालिक ने अपने कंटेंट का कॉपीराइट कराया होगा। आसान भाषा में समझे तो, अगर एक व्यक्ति ने अपने कंटेंट को रजिस्टर नहीं कराया है या  उस कंटेंट का कॉपीराइट नहीं लिया है तो नक़ल करने वाले व्यक्ति को आप दंड नहीं दिलवा सकते है। ऐसा इसीलिए क्योंकि कॉपीराइट के बिना आप कोर्ट में यह साबित नहीं कर पाएंगे की यह कंटेंट आपके द्वारा बनाया गया है बल्कि नक़ल करने वाले व्यक्ति द्वारा नहीं। 

कॉपीराइट लेने के लिए कौन-से डाक्यूमेंट्स की जरूरत होती है?

कॉपीराइट लेने के लिए कंटेंट के मालिक से संबंधित कुछ जरूरी डिटेल्स आपको देने की जरूरत होती है। 

क्या आप को कानूनी सलाह की जरूरत है ?

कंटेंट का कॉपीराइट लेने के लिए कंटेंट के मालिक की कुछ बेसिक डिटेल्स – 

  1. कंटेंट के मालिक का नाम
  2. कंटेंट के मालिक का राष्ट्रीयता
  3. कंटेंट के मालिक का पता/एड्रेस 

यह सभी डिटेल्स सॉफ्ट कॉपी जैसे जीआईएफ, जेपीईजी, या जेपीजी के रूप में होनी चाहिए।

कॉपीराइट के क्या फायदे है?

एक बार जब कोई व्यक्ति अपने द्वारा बनाये गए नए या यूनिक काम को रजिस्टर कराता है, तो इस जानकारी को कॉपीराइट ऑफिस के कैटलॉग में प्रकाशित/पब्लिश कर दीया जाता है और इस प्रकार इसे जनता द्वारा एक्सेस किया जा सकता है या पहुंचाया  जा सकता है। यह निर्माता के काम की नक़ल होने या चुराए जाने से रक्षा करता है और उस काम की यूनिक पहचान को बचाता है। 

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अपने कंटेंट को कॉपीराइट कराने का सबसे बड़ा फायदा यह है कि अगर भविष्य में कोई भी व्यक्ति आपके काम को अपने द्वारा किये गए या बनाये गए काम के रूप में दावा करने की कोशिश करता है, तो कंटेंट का मालिक या निर्माता उसके कॉपीराइट का उल्लंघन होने पर ऐसा करने वाले व्यक्ति के खिलाफ केस फाइल कर सकता है। 

कॉपीराइट कानून रचनात्मकता/क्रिएटिविटी को बढ़ाने में मदद करता है। यह ओरिजिनल या नए काम के मालिक या रचयिता को एक मजबूती देता है जिससे आपके काम को सुरक्षा मिलती है और कोई अन्य व्यक्ति ऐसे काम को डेमोलिश नहीं कर सकता है।

लीड इंडिया कैसे मदद कर सकता है?

लीड इंडिया के कानूनी एक्सपर्ट्स आपके कॉर्पोरेट के अंदर कॉपीराइट रजिस्ट्रेशन की प्रोसेस में आपकी पूरी मदद करेंगे। वे रजिस्ट्रेशन की स्टेप बाय स्टेप प्रोसेस आपको बताएंगे और हर स्टेप में आपकी मदद करेंगे। अगर कोई अन्य पार्टी आपके कॉपीराइट रजिस्ट्रेशन का उल्लंघन करने की कोशिश करता है तो भी आपका मार्गदर्शन करेंगे।

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